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Noted Nest

एक हॅंसी

By Meghna Dash



सवालों में लिपटी, जज़्बातों से भरी

शोर में कहीं गूंजती, एक मीठी हॅंसी।

नज़रों से दूर भीड़ में छिपी,

खिलखिलाती एक रूहानी हॅंसी।


और मैं, मैं तो बस चुपचाप-सा बैठे

अपना होश खोए कहीं।

लहराती बाल, उलझता मैं

टिमटिमाती रोशनी में, चमकता मैं।


जादू-सा हुआ, कुछ ऐसा उसका असर

कुदरत की देन या आसमानी किरण।

कोमल सी, मासूम सी, मधुर सी, प्यारी सी

विश्वास से भरी, आँखों में सपने

देखके उसको, पिघला सा मैं।

सोच में डाले कौन वो मेरी

मन में बसी अब उसकी ये हॅंसी।।


By Meghna Dash





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